समय-समय पर भारत विरोधी दुष्प्रचार करने वाली भारतीय मूल की अमेरिकी अर्थशास्त्री क्षमा सावंत भारत आने को आतुर हैं। उनका कहना है कि आवेदन करने के बाद तीन सप्ताह से वह इमरजेंसी वीजा का इंतजार कर रही हैं, लेकिन अभी तक वीजा स्वीकृत नहीं हुआ है। क्षमा ने वीजा स्वीकृत न होने पर भारत सरकार को जिम्मेदार ठहराया और अपना गुस्सा जाहिर किया।
उन्होंने दक्षिणपंथियों के खिलाफ अपनी हताशा दिखाई और पीएम मोदी पर आरोप लगाया कि वह उनसे नफरत की वजह से यह सब कर रहे हैं। क्षमा सावंत ने अपने एक्स अकाउंट में साफ लिखा है कि प्रधानमंत्री मोदी और भाजपा सरकार उन्हें उनकी बीमार मां को देखने के लिए वीजा नहीं दे रही है। उन्होंने कहा है कि वह अकेली नहीं हैं, कई अन्य कार्यकर्ता और पत्रकार भी हैं, जिन्हें भी भारत में प्रवेश करने से रोका जा रहा है।
कौन हैं क्षमा सावंत?
आपको बता दें कि क्षमा सावंत समय-समय पर मोदी सरकार के खिलाफ माहौल बनाने का काम करती रही हैं। मौजूदा जानकारी के मुताबिक साल 2020 में भारत में नागरिकता संशोधन कानून (CAA) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (NRC) के खिलाफ प्रस्ताव पारित किया गया था, जिसमें इसे भेदभावपूर्ण बताया गया था। इसके बाद सावंत ने पीएम नरेंद्र मोदी की कड़ी आलोचना की थी।
उन्होंने भारत में चल रहे किसान आंदोलन के समर्थन में एक प्रस्ताव भी पारित करवाया था। अब अपने ही किए को याद करते हुए उन्हें लगता है कि शायद यही वजह है कि उनके वीजा पर सुनवाई नहीं हो रही है और इसीलिए वह इस मामले को आधार बनाकर नए तरीके से नफरत फैला रही हैं। क्षमा सावंत भारतीय-अमेरिकी अर्थशास्त्री और सिएटल सिटी काउंसिल की सदस्य हैं।
उनका बचपन भारत में बीता। बाद में पीएचडी करने के लिए वह सिएटल चली गईं और वहां सेंट्रल कम्युनिटी कॉलेज, सिएटल यूनिवर्सिटी और वाशिंगटन टैकोमा यूनिवर्सिटी में पढ़ाने लगीं। वह साल 2006 में सोशलिस्ट अल्टरनेटिव से जुड़ीं। इसके बाद उन्होंने फेडरेशन ऑफ टीचर्स लोकल में एक कार्यकर्ता के तौर पर भी काम किया। साल 2012 में क्षमा ने सोशलिस्ट अल्टरनेटिव उम्मीदवार के तौर पर राज्य विधानसभा चुनाव लड़ा था।
मोदी विरोधी क्षमा सावंत
आज वह भारतीय राजनीति में सिर्फ इसलिए शामिल हैं क्योंकि वह मोदी विरोधी हैं। वरना अगर 2020-21 और 2022 में उनके द्वारा पारित प्रस्तावों पर नजर डालें तो उन्हें भारत में अपनी बीमारी का इलाज कराने के लिए वीजा दिया गया था। उस समय भी वह भारत आई थीं। अगर मोदी सरकार को बदला लेना होता तो वह उसी समय कर लेती।
रिपोर्ट्स बताती हैं कि इस बार क्षमा सावंत का आवेदन खारिज कर दिया गया है। इससे पहले 29 मई को उनका वीजा खारिज कर दिया गया था, जबकि उनके पति को प्रवेश की मंजूरी मिल गई थी। इसके बाद तीसरी बार 9 जनवरी को क्षमा सावंत और उनके पति कैल्विन प्रीस्ट ने सिएटल में भारत के महावाणिज्य दूतावास में आपातकालीन प्रवेश वीजा के लिए आवेदन किया। इस बार उनका वीजा खारिज नहीं हुआ है, लेकिन उन्हें अनुमति नहीं मिली है, इसलिए वे नाराज हैं।